हुजूर सल. का हजरत खदीजा से निकाह Hujur sal. Ka Hajart khadija se nikah
रासूलुल्लाह स. का पहला निकाह मक्का की एक शरीफ खातून खदीजा बिन्ते खुवैलिद से
हुआ | हजरत खदीजा एक दौलतमंद बेवा औरत थी | इस से पहले उन की दो शादियाँ हो चुकी
थी | उन्होंने हुजूर की अमानत व दियानत और हुस्ने अखलाक जैसी सिफात को देख कर
निकाह का पैगाम दिया था, हालाँके इस से पहले कुरैश के बडे बडे सरदारों के पैगाम को
ठुकरा चुकी थी |
हुजूर स. ने इस पैगाम का तजकेरा अपने चचा अबू तालिब से किया, जिस
को उन्होंने बखुशी कबूल कर लिया और अबू तालिब बनी हाशीम और मुजर के सरदारों को ले
कर हजरत खदीजा के मकान पर गए | अबू तालिब ने निकाह का खुतबा पाढा | उस वक्त हजरत
खदीजा की उम्र चालीस साल और अप स. की उम्र शरीफ २५ साल थी | हजरत खदीजा आखरी वक्त
तक हुजूर की जाँनिसार और गमख्वार बीवी रही | उन की वफात के बाद भी हुजूर स. उन की
खुबियों का तजकेरा करते रहते थे | हजरत इब्राहीम के अलावा आप की सारी औलाद हजरत
खदीजा से ही है |
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